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Social media और मानव में संबंध भाग - 03

 Hey Dosto! आप सभी का स्वागत् है, हमारे easygyaan10 blog में। तो दोस्तों आज हम जानेंगे की ये सोशल मिडिया और मनुष्य में क्या संबंध है, सोशल मीडिया ने मानव जीवन में बहुत बड़ा परिवर्तन लाया है और इसके साथ-साथ मानव-मानव संबंधों पर भी गहरा प्रभाव पड़ा है। यह नए संचार के ढंगों को प्रोत्साहित करता है, लेकिन कुछ दुष्प्रभावों के साथ साथ आने वाले चुनौतियों का सामना भी करना पड़ता है। सकारात्मक पहलुओं में, सोशल मीडिया ने लोगों के बीच संवाद को सुगम और त्वरित बना दिया है। लोग अपने दोस्तों, परिवार, और समुदाय के साथ अब भी संपर्क बनाए रख सकते हैं, भले ही वे भौतिक रूप से दूर हों। इससे लोग आपसी रिश्ते मजबूत कर सकते हैं और समय के साथ अपने परिवार और मित्रों के साथ अच्छी तरह से जुड़ सकते हैं। सोशल मीडिया ने विभिन्न समुदायों को एकत्र किया है और उन्हें अपने इंटरेस्ट्स और धार्मिक या सामाजिक उद्देश्यों के अनुसार गुणवत्ता सम्पन्न जानकारी साझा करने का मौका दिया है। इससे लोग विश्वास और सम्मान के साथ समूहों में शामिल हो सकते हैं, जो उनके सोच, मूल्यों, और दृष्टिकोण के साथ मिलते हैं। हालांकि, यहां कुछ चुनौतियाँ...

What is Love ? प्यार क्या है?#part 01

 Hey Dosto!!!
आप सभी का स्वागत् है हमारे easygyaan10 blog में तो दोस्तों आज हम जानेंगे कि प्यार क्या है? बहुत से लोग अपने Feeling,Sensation,Passion,Caring,Dependancy,Attachment,Attraction,Addiction व Relationship आदि की वजह से जो हमारे अंदर chemical reaction होता है, जिससे हमे अजीबो गरीबो Thought(विचार) आते है। हम कुछ भी सोचने लगते है। जो हमे समझ में नही आती, और हम उसे समझना भी नही चाहते, तो उसे हम प्यार का नाम दे देते है। कही हम इस प्यार शब्द को ही प्यार तो नही समझ रहे है। क्या सच में यही प्यार है? अगर नही, तो इसका Actual Meanning  (सही अर्थ ) क्या है?

सारा खेल आपकी सोच( मानने और जानने) के सीमाओ का है। आप हर इंसान को,चीज को अपने सोच के पैमाने में मापते है, हो सकता है वो आपकी सोच से एकदम अलग हो, हो सकता है कि आप बचपन से लेकर आज तक जो भी प्यार के बारे में देखते या सुनते आये हो, वो सब झूठ है। मतलब की उससे भी ये अलग हो, कि what is love ? क्या आप सच में जानना चाहते हो, कि प्यार क्या है? तो अपने सोच की सीमाओ को तोड़ने के लिए तैयार हो जाओ। बिना तोड़े नही समझ पाओगे, कि प्यार क्या है?

Love is not.........(प्यार नही है) :-


तो what is love? Not how to love,What is love? कही ऐसा तो नही कि हम Over Experience कर रहे है,प्यार प्यार प्यार....और हम Word(शब्द) को ही प्यार समझ रहे है। या फिर हो सकता है ये बहुत अलग हो। जो अगर आपके Life में उतर आये, तो एक एक सेकण्ड मज़ेदार हो जाये। सारे Fears ख़त्म हो जाये। Absolute Fearless तो मेरा आपसे simple सा Question है। कि What is Love?

 


 



Q.(1) जिसे छोड़ने का मन न करे, That is Love.

:- तो जिसे छोड़ने क मन न करे, जैसे की एक शराबी है, जिसे शराब छोड़ने का मन नही कर रहा, तो क्या उसे शराब से प्यार है। सोचना है, देखो इसी को Inquiry कहते है।

Q.(2) Love is passionate about particular female or a thing that is Love.

:- क्या जो सड़क छाप रोमियो होते है, उनका Passion(जुनून,जोश,शौक,लालसा) होता है,कि आसपास की लड़कियो को ताकना(देखना), उन्हें घूरना। क्या ये प्यार है? सोचो Passion हम किसे कहते है? Feeling को कहते है। जो हमारे अंदर इधर-उधर, निचे-ऊपर होती रहती है। तो क्या किसी इन्सान को लेकर, किसी चीज को लेकर जो जुनून है। क्या वो प्यार है? ये Question करे खुद से।

Expectation:-
अपने बच्चों को बोलते है Parents(माता-पिता) कि हम तुम्हे बहुत प्यार करते है। इसलिये तुम्हे Kota भेज रहे है पढ़ने के लिए, कि तुम 18-18 घण्टे पढ़ो, और वहाँ पर जाकर compite करो। क्या ये प्यार है?

Q.(3) प्यार वो है जिसके लिए आप कुछ भी करने को तैयार हो जाते हो? Without any limit.

:- अच्छा! प्यार वो है जिसके लिए हम कुछ भी करने को तैयार हो जाते है, without any limit. तो एक Terrorist Organization( आतंकवादी संगठन) है, जिसका कोई Head(प्रधान, मुख्य)है। वो Person(व्यक्ति) कह रहा है कि जाकर सबको मारो। और वो मार रहा है। तो क्या ये प्यार है? अब इससे ऊपर क्या करोगे, किसी के लिए, सोचने वाली बात है, कि इससे ज्यादा आप किसी के लिए क्या करोगे, अपनी जान देने को तैयार हो। क्या ये प्यार है?

Q.(4) क्या हमे पढ़ने(पढ़ाई) से प्यार होता है?


:- आराम से सोचो, Question करो? क्या पढ़ाई से हमे प्यार होता है? अगर पढ़ाई से आपको प्यार होता, तो आप ये कभी नही पूछते, कि मैं पढ़ाई से Distract (विचलित होना) क्यों होता हूँ। अगर आपको Option मिले, Life की तरफ से "पढ़ना है" या "नही पढ़ना है" तो पढ़ोगे क्या? हम कहते है, हमको पढ़ाई से प्यार है,अगर मैंने Top कर लिया, तब तो मैं कहता हूँ, मुझे पढ़ाई से प्यार है। और अगर मैं फ़ैल हो गया, 4 साल बाद भी तब मैं कहता हूँ। पढ़ाई से मुझे नफरत है। क्या मेरे को पढ़ाई से प्यार हैं? या Top करने से हमको प्यार है, और वो भी प्यार नही है। अपने Ego(अहम,अहंकार) को Setisfied(संतुष्ट्)कर रहे है। Top करके, और दुसरो को हरा करके, खुद जीत करके।  बोल रहे है मैं जीत गया। और बोल रहे है, हमे प्यार है। क्या ये प्यार है?

क्या जीतना प्यार है? एक Relationship में एक Agreement(समझौता) हो रही है,उसमे जीतना क्या प्यार है?

Q.(5) क्या Attraction(आकर्षित होना या मोहित होना) प्यार है?


:- किसी को देखकर ही हमारे अंदर कुछ Changes(बदलाव) होने लगते है, एक दम से ही हम किसी की तरफ Attract होने लग जाते है, तो वो प्यार है। जो Teenage में शूरू हो जाते है Changes हमारे अंदर। हमारे अंदर कई तरह के Hormonal changes होते है। क्या वो हार्मोनल Changes प्यार है? सोचो जी! सोचो। 

उस टाइम पे हमारे Body के अंदर बहुत तरह के बदलाव हो रहे होते है। कई तरह के Chemical Reaction हो रहे होते है। और दिमाग हमारा Cantrol में नही होता है। और हम कुछ भी हरकते कर रहे होते है। और उसे प्यार है कह रहे होते है। क्या वो प्यार है?

Q.(6) जब किसी से हमे बहुत ज्यादा Attachment(जुड़ाव या लगाव,बंधन) हो जाता है। That is LOVE.


:- क्या आप सबको भी लगता है कि किसी इंसान से हमको बहुत ज्यादा Attachment हो जाये, जैसे कि आपको अपनी माँ से बहुत ज्यादा Attachment हो जाये या किसी Person से बहुत ज्यादा Attachment हो जाये। क्या वो प्यार है? सोचो! क्या जहाँ पर जुड़ाव या लगाव होती है, वहाँ पर प्यार होता है। Attachment(बंधन,जुड़ाव, लगाव)हम किसे कहते है, कि ये मेरा है, ये मेरी है। तो क्या वहाँ पर प्यार होता है। क्या Attachment प्यार है? या प्यार कुछ ऐसा है कि Attachment से इसका दूर-दूर तक कोई लेना देना ही नही है। एक माँ को अपने बच्चे से Attachment है और उस Attachment की वजह से क्या हो रहा है, वो माँ चाहती है, कि उस बच्चे के साथ वैसा ही हो, जैसा कि मुझे ठीक लगता है, उस बच्चे के लिए। क्या ये प्यार है?

जहाँ ये Attachment होगी तो वहाँ ये Expectation(आशा, उम्मीद) होगी ही या नही होगी ? मेरे जो बच्चे है, माँ-बाप के अंदर ये Expectation होती है या नही होती है। कि मेरे बच्चे मेरे हिसाब से चले। इसकी Life का मैंने ठेका ले लिया है। तो क्या ठेका लेना प्यार है। समझो। क्या जहाँ पर कब्ज़ा होता है, वहाँ पर प्यार होता है।
 

Attachment का मतलब ही कब्ज़ा है। कि ये जमीन मेरी है। ये गाड़ी मेरी है। ये बीवी मेरी है। कब्ज़ा हो गया न। ये मेरे बच्चे है। क्या वहाँ पर प्यार होता है? कब्ज़ा किस level पर it's not physical level,
It's level of Mind.

Q.(7) क्या किसी पर निर्भर रहना प्यार है? क्या Dependency(निर्भरता) is Love?


:- जब भी प्यार की बात आती है तो हम हमेशा Postive चीज ही क्यों सोचते है, पता नही। कुछ Negative भी हो सकती है। According to me,Lovers dependancy कि जब हम depend(निर्भर) हो जाते है। हमे लगता है, हमारी ख़ुशी के लिए। This is love, मुझे ये करके प्यार मिलेगा, मुझे इस चीज से प्यार है। हम अपने ही बारे में सोच रहे है और उस Selfishness(स्वार्थ भाव, मतलबी, स्वार्थी, अपने ही बारे में सोचना) को हम प्यार बोल देते है।

एक बच्चा जो new born baby होता है। वो अपने माँ से बहुत ज्यादा Attach होता है। क्योंकि 9 months उसने एक Connection बना लिया है। वो अपने हर चीज के लिए अपनी Mom पर निर्भर है। उस निर्भरता को हम प्यार बोल देते है। कि बच्चा पैदा होते ही, अपनी माँ से प्यार करने लगता है। It's Dependency. That is not Love.

क्या जहाँ पर dependancy होती है, वहाँ पर प्यार होता है। नही, वहाँ पर डर होता है। एक लड़की है जो अपने पति के ऊपर depend हो गयी है। उसको उसके साथ रहना अच्छा नही लग रहा है। लेकिन अगर उसको छोड़ दिया तो समाज पता नही क्या कहेगा? समझ गए। और इसको वो बोल रही है, नही मुझे अपने पति से बहुत प्यार है। अभी भी उसके सामने उसकी पति का कोई बुराई करेगा तो वो उससे लड़ेगी। और क्या कहेगी मुझे प्यार है अपने पति से। 20 साल से एक आदमी के साथ रह रही है। जो उसे पसंद नही है। फिर भी प्यार है। समझ गए, क्योंकि वो उस पे Depend है। क्योंकि उसको डर लगता है, कि उसने मुझे छोड़ दिया या मैंने उसे छोड़ दिया, तो मैं कहाँ जाऊँगी। मैं क्या करूँगी। तो हम डर में किसी के साथ चिपके पड़े है, और कह रहे है कि वो प्यार है। क्या वो प्यार है ?

कही पर आप job कर रहे हो और आपको डर है कि मुझे उस नौकरी से निकाल दिया तो पता नही क्या हो जायेगा। क्या आपको उस नौकरी से प्यार है? समझो लगाओ, थोड़ा सा दिमाग।

Q.(8) अगर किसी दूसरे की ख़ुशी हमारी ख़ुशी बन जाये, तो उसे प्यार कहते है?


:- ध्यान से सुनना मैं एक Teenager(किशोर आयु का, बालक/ बालिका) की बात करता हूँ। उसकी ख़ुशी किसमें है, मानलो दारू में, सिगरेट में,House Party में। मेरे घर वाले मुझे मना कर रहे है, तो Anti(विरोधी) हुआ पड़ा है। लेकिन घर वाले मुझे क्या कहे...नही
उसकी ख़ुशी में मेरी ख़ुशी है, मुझे मेरे बच्चे से प्यार है, कर ले बेटा!(House party), जा जीले अपनी ज़िन्दगी। पूरी रात मारते रा...सुट्टा घर पे हमारे। क्या ये प्यार है?

Q.(9) Love is Addication(नशा, लत). क्या नशा, प्यार है?


:- जिसे हम प्यार कहते है, वो नशा नही है, क्या नशे में हमे ये परवाह होती है, कि सामने वाले को क्या अच्छा "लगता है" या "नही लगता है"। या सिर्फ हमे ये परवाह होती है कि मुझे क्या अच्छा लगता है और क्या नही लगता है। जहाँ सामने वाले ने मुझे ऐसी बात कही जो मुझे अच्छा नही लगता है। तो लड़ाई-झगड़ा होता है। ये सच है या झूठ है। सच है। तो हम जिसे प्यार कह रहे है, क्या वहाँ पर प्यार है? आराम से सोचो!

एक शराबी भी बोलता है, I Love whisky, I love सिगरेट। क्या ये प्यार है। आप लोगो में से जिन लोगो को सुट्टा मारने की आदत पड़ी हुई है, क्या आपके मन में ये Thought नही चलता रहता है कि मैं इसको छोड़ दूँ- छोड़ दूँ, कम कर दूँ। कम कर दूँ। सबके चलता है, तो प्यार कहाँ है इससे। नफ़रत है, पर Addication(नशा,लत)है।

"इसीलिये कहते है, की पहले अपने आपको प्यार करना सीखो। क्या वो इंसान जिसे खुद से प्यार नही है। क्या वो किसी से भी प्यार कर सकता है।  नही..., समझे! कितने लोग है इस दुनिया में जिन्हें खुद से बहुत प्यार है, जो खुद के life से पूरी तरह से setisfied(सन्तुष्ट) है। क्या वो किसी से भी प्यार कर सकते है। या वो सामने वाले person को यूज़ करेगा, खुद को Satisfied करने के लिए। और उसको प्यार का नाम दे देगा।"


 और पढ़े :-

अपने Break-up को कैसे समझे?


Tq for read.

Love you All.

#jpnetam.

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